*डेंगू बुखार का देशी इलाज* By Sri Jagmohan Gautam
Note: Following is copied from whatsapp message. If you believe you may follow it. First verify, experiment and then accept it, only if found and experienced right from your view.
आजकल डेंगू एक बड़ी समस्या के तौर पर उभरा है, जिससे कई लोगों की जान जा रही है l यह एक ऐसा वायरल रोग है जिसका मेडिकल चिकित्सा पद्धति में कोई इलाज नहीं है परन्तु आयुर्वेद में इसका इलाज है और वो इतना सरल और सस्ता है की उसे कोई भी कर सकता है l
तीव्र ज्वर, सर में तेज़ दर्द, आँखों के पीछे दर्द होना, उल्टियाँ लगना, त्वचा का सुखना तथा खून के प्लेटलेट की मात्रा का तेज़ी से कम होना डेंगू के कुछ लक्षण हैं जिनका यदि समय रहते इलाज न किया जाए तो रोगी की मृत्यु भी हो सकती है l यदि आपके किसी भी जानकार को यह रोग हुआ हो और खून में प्लेटलेट की संख्या कम होती जा रही हो तो निम्नानुसार चार सुझावों को उन तक पहुंचा कर पुण्य के भागीदार बन सकते हैं।
*१) अनार जूस*
*२) गेहूं घास रस*
*३) पपीते के पत्तों का रस*
*४) गिलोय/अमृता/अमरबेल सत्व*
अनार जूस तथा गेहूं घास रस नया खून बनाने तथा रोगी की रोग से लड़ने की शक्ति प्रदान करने के लिए है, अनार जूस आसानी से उपलब्ध है यदि गेहूं घास रस ना मिले तो रोगी को सेब का रस भी दिया जा सकता है l
पपीते के पेड़ के पत्तों का रस सबसे महत्वपूर्ण है, पपीते का पेड़ आसानी से मिल जाता है उसकी ताज़ी पत्तियों का रस निकाल कर मरीज़ को दिन में २ से ३ बार दें , एक दिन की खुराक के बाद ही प्लेटलेट की संख्या बढ़ने लगेगी l
गिलोय बेल की डंडी ले ! डंडी के छोटे टुकड़े करे ! २ गिलास पानी मे उबाले ! जब पानी आधा रह जाये ! ठंडा होने पर रोगी को पिलाये ! मात्र ४५ मिनट बाद सेल बढ़ने शुरू हो जाएँगे !! गिलोय की बेल का सत्व मरीज़ को दिन में २-३ बार दें, इससे खून में प्लेटलेट की संख्या बढती है, रोग से लड़ने की शक्ति बढती है तथा कई रोगों का नाश होता है l
यदि गिलोय की बेल आपको ना मिले तो किसी भी नजदीकी चिकित्सालय में जाकर “गिलोय घनवटी” ले आयें जिसकी एक एक गोली रोगी को दिन में ३ बार दें l यदि बुखार १ दिन से ज्यादा रहे तो खून की जांच अवश्य करवा लें l
यदि रोगी बार बार उलटी करे तो सेब के रस में थोडा नीम्बू मिला कर रोगी को दें, उल्टियाँ बंद हो जाएंगी ये रोगी को अंग्रेजी दवाइयां दी जा रही है तब भी यह चीज़ें रोगी की बिना किसी डर के दी जा सकती हैं !
डेंगू जितना जल्दी पकड़ में आये उतना जल्दी उपचार आसान हो जाता है और रोग जल्दी ख़त्म होता है !
रोगी के खान पान का विशेष ध्यान रखें, क्योंकि बिना खान पान कोई दवाई असर नहीं करती ! ऊपर बताए गए इलाजों मे सबसे जल्दी पपीते के पेड़ के पत्ते कम करते हैं फिर गिलोय !!
इससे अच्छा और सस्ता कोई इलाज नहीं है डेंगू बुखार का !
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